हमें लगता है कि हम सबसे अलग हैं। हम कुछ खास कर रहे हैं। इसके बावजूद हमारे मन में अपने अस्तित्व को लेकर बहुत सारे सवाल उठते रहते हैं। कभी-कभी हम अपने व्यक्तित्व या उम्मीद के विपरीत ... Read more
हमारा व्यक्तित्व बहुत कुछ कहता है। इसका अपना रंग और अपनी ध्वनि होती है। क्या हमारे काम करने का अंदाज हमारे व्यक्तित्व को प्रभावित करता है और यह कैसे हमारी भावनाओं से संचालित होता ह ... Read more
सोशल मीडिया पर दुनिया कितनी सुंदर है? अपने निजी जीवन में तनावग्रस्त लोग भी यहां मुस्कुराते हुए नजर आते हैं। जबकि जीवन के असल संघर्ष और चुनौतियों के बारे में लोग यहां बात करना नहीं ... Read more
जब हमें लगने लगे कि हम एकदम निष्पक्ष, स्वतंत्र और निष्काम हो गए हैं, उसी क्षण हमें ठहर कर अपनी आंतरिक मूल भावनाओं की ओर ध्यान देना चाहिए। क्या ये कम होने लगी हैं? क्या हमने इन पर अ ... Read more
कोई छोटी-मोटी यात्रा करनी हो, तो हम अपने साथ कुछ जरूरी सामान जरूर रखते हैं। साथ ही यह भी ध्यान रखते हैं कि उन अनावश्यक चीजों को साथ न लें, जो सिर्फ बोझ बढ़ाती हैं, यानी जिनके बिना ... Read more
जब किसी स्थान, समुदाय या दुनिया के लोग एक साथ ही एक जैसे कर्म कर रहे होते हैं, तब वह सामुहिक कर्म हम सभी के जीवन पर साझा प्रभाव डालते हैं। पर ऐसा क्यों होता है कि कुछ इससे ज्यादा ... Read more
अनुभूतियां ही जीवन के अनुभवों से हमें परिचय करवाती हैं। पर जैसे-जैसे हमारे अनुभव बढ़ते जाते हैं, हमारी अनुभूतियां भी बदलती जाती हैं। तो क्या है अनुभूतियों की सच्चाई और क्या है जीवन ... Read more
हम सब जीवन भर बहुत सी गतिविधियां करते हैं। इनमें हाथ उठाने की सरल सी मूवमेंट से लेकर जिंदगी का कोई बहुत बड़ा फैसला लेने तक। पर ऐसा नहीं है कि यह सब अचानक हो जाता है। तब कौन है हमार ... Read more
हमारी पहचान से बढ़कर भी हमारी उपस्थिति है। एक ऐसी उपस्थिति जिसे हम वास्तव में समझ ही नहीं पाते। धर्म बहुत हद तक आत्म साक्षात्कार में मददगार हो सकता है। आइए धर्म को अपनी पहचान के सं ... Read more
हमारे जन्म से पहले ही हमारा धर्म, हमारी जाति और देश तय हो चुका होता है। पर कभी-कभी यह हमें अवांछित गर्व और अभिमान से भर देते हैं। क्या इनका कोई वास्तविक अर्थ या जीवन में उनकी भूमिक ... Read more